ग्रामीण क्षेत्रों के हर ब्लॉक से पांच पांच आंगनवाड़ी केंद्रों का होगा कायाकल्प
आंगनवाड़ी न्यूज
बदायूं जिले मे स्वास्थ्य और शिक्षा विभाग के बाद अब बाल विकास विभाग के आंगनबाड़ी केंद्रों के कायाकल्प से सूरत बदली जाने वाली है। आंगनबाड़ी केंद्रों का कायाकल्प घर-आंगन की तरह किया जायेगा। इन केन्द्रो पर बाल पेटिंग और मरम्मत करके बिल्कुल बदल दिया जायेगा। आंगनवाड़ी केन्द्रो पर खेल खिलौने और अन्य संसाधनों को उपलब्ध कराया जाएगा। इस बदलाव से बच्चों को आंगनवाड़ी केंद्र पर ही अपने घर की फीलिंग महसूस होगी हैं।
वर्तमान समय मे जनपद में बाल विकास एवं पुष्टाहार विभाग द्वारा 2940 आंगनबाड़ी केंद्र संचालित किए जा रहे हैं। जिले के ग्रामीण क्षेत्र मे आंगनबाड़ी केंद्रों की कायाकल्प के तहत सूरत बदलने वाली है। जिससे इन केंद्रों को पूरी तरह मॉडल के रूप में बनाया जाएगा।
केंद्र सरकार के बाल विकास मंत्रालय ने आंगनवाड़ी केंद्रों के कायाकल्प को अपने अंतरिम बजट में शामिल किया है। इस बार के अंतिम बजट में कायाकल्प के तहत प्रस्तावित केंद्रों के हालात जल्द सुधारने के लिए बड़ा बजट जारी किया है।
इसके लिए जनपद के हर ब्लाक से पांच-पांच केंद्रों को मिलाकर 75 आंगनबाड़ी केंद्र का चयन किया गया हैं। जिसमें उजानी के गांव रहमुद्दीन नगर, गुराई, बसोमा तथा बिसौली के गांव परौली, रघुनाथ पुर, पपगांव, अंबियापुर के रिसौली सहित सभी ब्लाकों से 75 आंगनबाड़ी केंद्रों का कायाकल्प होगा। सरकार द्वारा मॉडल के रूप ने प्रति आंगनवाड़ी केंद्र पर दो लाख रुपये का बजट तय किया है।
कायाकल्प के लिए शासन ने प्रस्तावित केंद्रों की सूची को दोबारा मांग कर मंजूरी दे दी है। अब सिर्फ बजट आने का इंतजार है बजट आते ही इस पर कार्य शुरू करा दिया जाएगा। लेकिन अभी भी जिले के शहरी क्षेत्रो के केन्द्रो मे बदलाव के आसार नहीं है और उम्मीद है कि शहरी क्षेत्रों के आंगनबाड़ी केंद्रों को आने वाले समय में भी कायाकल्प होने का कोई लाभ नहीं मिल पाएगा।
इस संबंध मे जिला कार्यक्रम अधिकारी पी के सिंह का कहना है कि फिलहाल जनपद के 75 आंगनबाड़ी केंद्रों का कायाकल्प के लिए चयन किया गया है। आंगनवाड़ी केंद्रों पर कायाकल्प के बाद संसाधनों सहित अन्य व्यवस्थाओं से सुधार किया जाएगा। इस बार सरकार के नये बजट में कायाकल्प को शामिल किया गया है।