लाभार्थी के अतिरिक्त नहीं मिलेगा किसी और को आंगनवाड़ी पोषाहार
आंगनवाड़ी राशन

आंगनबाड़ी केन्द्रों पर मिलने वाले गर्भवती व धात्री महिलाओं और बच्चो को मिलने वाले पोषाहार को सिर्फ लाभार्थियो को ही दिया जाएगा इसके लिए शासन द्वारा नयी व्यवस्था की जा रही है। इससे पहले गर्भवती, धात्री और बच्चो को पोषाहार परिवार के अन्य सदस्य ले जाते थे। लेकिन अब इस व्यवस्था मे बदलाव किया जा रहा है।
शासन ने आंगनबाड़ी केन्द्रो पर मिलने वाले पोषाहार वितरण प्रणाली में बदलाव कर दिया है अब केन्द्रो के पंजीकृत लाभार्थियो को सिर्फ फेस रिकगनाइजेशन या मोबाइल ओटीपी द्वारा सत्यापन के बाद ही पोषाहार दिया जाएगा। अगर कोई गर्भवती महिला या बच्चे आंगनबाड़ी केन्द्र तक पहुंचने में असमर्थ हैं तो उनके अभिभावक को रजिस्टर्ड मोबाइल पर आए ओटीपी के सत्यापन के बाद ही राशन दिया जाएगा।
आंगनबाड़ी केंद्र पर आने वाले धात्री या गर्भवती महिला और बच्चो को फेस रिकग्निजेशन या ओटीपी के माध्यम से ही पोषाहार दिया जायेगा। आंगनवाड़ी केन्द्रो पर आने वाले 6 माह से 6 साल तक के बच्चों के लिए शासन द्वारा नया सिस्टम फेस रिकग्निजेशन या ओटीपी लागू किया जा रहा है।
महिला एवं बाल विकास मंत्रालय ने पोषण ट्रेकर पोर्टल पर आंगनबाड़ी केन्द्रों के गर्भवती व धात्री महिलाओं और बच्चो के फोटो को चेहरे की पहचान के लिए आंगनवाड़ी वर्कर द्वारा पोर्टल पर अपलोड कराने शुरू कर दिये हैं। केन्द्रो मे पंजीकृत लाभर्थियों को पोषाहार वितरण के समय उपस्थित रहते हुए अपनी पहचान करानी होगी इसके लिए पोषण ट्रेकर द्वारा स्केनिंग की जायेगी।
चेहरे की पहचान होने के बाद लाभार्थी को पोषाहार दिया जायेगा। अगर कोई लाभार्थी महिला या बच्चा पोषाहार लेने के लिए केंद्र पर उपस्थित आने मे असमर्थ है तो पोर्टल द्वारा के मोबाइल नंबर पर ओटीपी आएगा। उसके बाद उस ओटीपी को आंगनवाड़ी द्वारा पोषण ट्रैकर पर दर्ज करने के बाद पोषाहार दिया जायेगा।
शासन ने नए साल की शुरुवात होते ही इस सिस्टम को लागू करना था लेकिन पोर्टल पर ओटीपी व फेस आईडी सिस्टम सही से काम नहीं कर रहा है। जिलो मे आंगनवाड़ी वर्करो को इस सिस्टम को लागू करने के लिए प्रशिक्षण भी दिया गया है। लेकिन पोर्टल मे कमी की वजह से समस्या आ रही है।
शासन द्वारा धात्री, गर्भवती महिलाओं और बच्चो को मिलने वाले पोषाहार वितरण में पारदर्शिता लाने के लिए फेस रिकग्निजेशन और ओटीपी सिस्टम लागू किया जा रहा है। इससे आंगनवाड़ी वर्करो को भी पोषाहार वितरण मे परेशानी का सामना नहीं करना पड़ेगा।
देखा गया है कि अधिकांश लाभार्थी के अभिभावक या परिवारजन आंगनवाड़ी केन्द्रो पर राशन लेने के लिए चक्कर काटते रहते है जबकि ये राशन लाभार्थी तक नहीं पहुचता है इसका दुरुपयोग किया जा रहा है लेकिन इस नई व्यवस्था शुरू होने के बाद पोषाहार सीधे लाभार्थी को मिलेगा।
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