प्रदेश के 9900 चयनित को लोकेटेड आंगनवाड़ी केंद्रों को बनाया जायेगा लर्निंग कार्नर
आंगनवाड़ी न्यूज

उत्तरप्रदेश के शिक्षा विभाग ने प्रदेश में चल रहे सभी जिलों के को लोकेटेड आंगनवाड़ी केंद्रों को लर्निंग लैब बनाने के सम्बंध में आदेश जारी किया है। हर आंगनवाड़ी केंद्रों को लर्निंग कार्नर विकसित करने के लिए 8110 रुपए दिए जायेंगे।
भारत सरकार से प्राप्त अनुमोदन के बाद प्रोजेक्ट अप्रूवल बोर्ड, शिक्षा मंत्रालय ने वार्षिक कार्ययोजना एवं बजट 2024-25 में उत्तरप्रदेश के सभी जिले के 9900 को-लोकेटेड आंगनबाडी केन्द्रों के बच्चों के लिए लर्निंग कार्नर विकसित करने के सम्बंध मे आदेश जारी किया है।
वार्षिक बजट 2024-25 के अनुसार विद्यालय परिसर में चल रहे कुल 9900 को-लोकेटेड आंगनबाडी केन्द्रो के 3 से 6 वर्ष के बच्चों को लर्निंग कार्नर विकसित किये जाने के सम्बंध मे शिक्षा मंत्रालय, भारत सरकार ने प्रस्ताव रखा है।
जिसमे को-लोकेटेड आंगनबाडी केन्द्रों के अंतर्गत लर्निंग कार्नर दिया जाना है। इसमे बच्चों को सीखने के लिए गतिविधि आधारित शिक्षण प्रविधि अपनाते हुए 4 लर्निंग कार्नर किया जाना है।
इसके लिए सरकार द्वारा 9900 को-लोकेटेड आंगनबाडी केन्द्रो के लिए विद्यालय प्रबंध समिति के खाते में रू० 8110/- प्रति विद्यालय की दर से कुल रू० 802.89000 लाख की वित्तीय राशि हस्तारित जारी की जा रही है।
विद्यालय स्तर पर उक्त सामग्री के खरीदने के लिए समिति का गठन किया गया है जिसमे विद्यालय प्रबंध समितिअध्यक्ष, प्रधानाध्यापक को सदस्य सचिव बनाया गया है। जबकि संबंधित आंगनबाडी केंद्र की कार्यकत्री, संबंधित क्षेत्र की बाल विकास विभाग की सुपरवाइजर,नोडल अध्यापक को इस समिति का सदस्य बनाया गया है।
आंगनवाड़ी को दी जाने वाली सामग्री


संबंधित आंगनबाडी कार्यकत्री को खरीदे गए लर्निंग कार्नर संबंधित सामग्री का विवरण स्टॉक रजिस्टर में अंकित करते हुए प्राप्त कराया जायेगा जाये। लर्निंग कार्नर तैयार करने हेतु प्रधानाध्यापक के नेतृत्व में नोडल अध्यापक एवं आंगनबाडी कार्यकत्री आपसी समन्वय से कार्य पूर्ण करेंगी। स्कूल का आंगनबाडी केन्द्र जिस कक्ष में संचालित हो रहा है उसका लर्निंग कार्नर की स्थापना के लिए पुताई एवं लघु मरम्मत का कार्य किया जायेगा।
प्रधानाध्यापक, सीडीपीओ के माध्यम से मरम्मत संबंधी कार्य हेतु पंचायत स्तर पर समन्वय स्थापित करते हुए कार्य में सहयोग प्रदान करेंगे। यदि आंगनबाडी केन्द्र विद्यालय के अतिरिक्त कक्षा-कक्ष में संचालित है, इस स्थिति में विद्यालय के कम्पोजिट ग्राण्ट से पुताई का कार्य पूर्ण कराया जाये।
सभी जिले के 9900 को-लोकेटेड आंगनबाडी केन्द्रों

